सरस्वती संस्कार केन्द्र प्रभावी तथा परिणामकारी बनने चाहिए- राघव कुमार

राकेश कुमार श्रीवास्तव संवाददाता
सिद्धार्थनगर: विद्या भारती गोरक्ष प्रान्त,सेवा क्षेत्र की शिक्षा आज दिनांक 18 जून 2025 को सरस्वती संस्कार केन्द्र सिद्धार्थनगर का एक दिवसीय बैठक,सरस्वती शिशु मंदिर सिद्धार्थनगर में राघव कुमार सह सेवा संयोजक ने दीप प्रज्ज्वलित कर पुष्पार्चन किया। विद्यालय के प्रधानाचार्य सन्तोष मिश्र ने स्वागत एवं परिचय कराया। बैठक का संचालन वुद्धिसागर पाठक ने किया। राघव कुमार ने कहा संचालक/संचालिका तथा प्रमुख दायित्व क्या है।

किसी भी प्रभावी कार्य के पीछे उसमें लगी प्रबंध व्यवस्था एवं कार्य करने की प्रेरणा का तथा योगदान को महत्वपूर्ण माना गया है। ठीक प्रबंधन के अभाव में कार्य का अपेक्षित परिणाम प्राप्त करना असंभव होता है। हमारे सरस्वती संस्कार केन्द्र प्रभावी तथा परिणामकारी बनने चाहिए। परन्तु ध्यान रहे ये केन्द्र सेवा से सम्बंधित हैं। इन केन्द्र की प्रबंधन-आवश्यकता तो और भी महत्वपूर्ण है क्योंकि सेवा का सम्बन्ध मानवीय संवेदना से होता है। इसी संवेदना के कारण समाज का सामान्य सा व्यक्ति भी सर्वोच्च बन जाता है। प्रबंधन की इसी भूमिका को ध्यान में रखकर हमे अपने के सुसंचालन का दायित्व निर्वाह करना होगा।

हमारे सम्पूर्ण कार्य के प्रबन्धन-व्यवस्था का आधार स्नेह और आत्मीयता है। प्रबन्धन के अर्थ को यदि हम प्रशासन का स्वरूप देंगे तो शायद उचित नहीं होगा। क्योंकि स्वामी विवेकानंद ने कहा-आध्यात्मिक जगत में मानव सेवा एक सौभाग्य है न कि बाध्यता। हमें साक्षात ईश्वर की सेवा का अवसर प्राप्त हुआ है। सेवा को परोपकार कहकर छोटा नहीं किया जा सकता। एक उपासक केवल सेवा व श्रद्धा ही कर सकता है दया और मदद नहीं। इस बैठक में हरिश्चन्द्र प्रधानाचार्य,आनंद प्रधानाचार्य,वाचस्पति प्रधानाचार्य तथा 30 केन्द्र संचालक तथा 10 सेवा प्रमुख उपस्थित रहे।