शिक्षा ही विकास का आधार

संवाददाता अतुल कुमार श्रीवास्तव
फरेंदा: ब्लॉक के बाजारडीह प्राइमरी स्कूल के बाहर बच्चे शिक्षा के लिए बैग लेकर खड़े इंतजार कर रहे हैंशिक्षा मनुष्य का सबसे पहला और अनिवार्य अधिकार है इसलिए सभी को शिक्षा में समानता मिलनी चाहिए। हमें लोगों के बीच में समानता के साथ ही पूरे देश में समान वैयक्तिक विकास लाने के लिए हमें सभी के लिए शिक्षा की सुविधा में संतुलन बनाना होगा। शिक्षा समाज में सभी को अपने चारों ओर की वस्तुओं में हस्तक्षेप करके सकारात्मक रूप में बदलने में मदद करती है। यह हमें हमारे शरीर,मस्तिष्क और अन्तर्मन में संतुलन बनाए रखने के साथ ही शिक्षा की तकनीकी में आवश्यक उन्नति को भी बढ़ावा देती है। यह देशों के वृद्धि और विकास के लिए समाज में प्रत्येक व्यक्ति की सक्रिय भागीदारी को बढ़ावा देती है। यह समाज में सामान्य संस्कृति और मूल्यों को विकसित करने के द्वारा सभी को सामाजिक और आर्थिक दोनों रूपों से सक्षम बनाती है।